भारत का वायुरक्षा हथियार प्रणाली(Air Defence System of India) क्या है? डीआरडीओ ने किस राज्य के तट पर एकीकृत वायु रक्षा हथियार प्रणाली की पहली उड़ान परीक्षण की?

भारत की हवाई रक्षा प्रणाली (Air Defence System of India) एक बहु-स्तरीय तंत्र है जो देश की हवाई सीमाओं को सुरक्षित रखता है। यह दुश्मन के हवाई हमलों, मिसाइलों, ड्रोन और अन्य हवाई खतरों से भारतीय हवाई क्षेत्र को बचाने के लिए बनाया गया है। इस सिस्टम में देशी और विदेशी दोनों तकनीकें शामिल हैं।

आकाश मिसाइल प्रणाली:- इसकी दूरी: 25-30 किमी इस प्रकार: सतह से मारक मिसाइल (SAM) विशिष्टता: रडार-निर्देशित, 360 डिग्री कवरेज प्रयोग: दोनों भारतीय वायुसेना और थलसेना द्वारा किया जा सके।

S-400 Triumf मूल स्थान से इस दूरी: 400 किमी दूरी की वायुरक्षा व्यवस्था विशिष्टता: स्टील्थ एयरक्राफ्ट को भी बैलिस्टिक और क्रूज़ मिसाइल ट्रैक कर सकते हैं भारत ने पांच कंपनियां खरीदी हैं—भारत में अब यह प्रणाली लागू हो चुकी है।

Barak-8 (Barak-8) भारत और इजरायल में 70 से 100 किमी की दूरी पर विकसित हो सकता है। इस प्रकार मिसाइल से सतह से हवा में ही मार कर गिरा सके जिसे उनका प्रयोग नौसेना एवं थलसेना में किया जा सके।

भारत का बैलिस्टिक मिसाइल रक्षा (BMD) अभियान PA: ऊपरी (50-80 किमी) संपर्क करता है (AAD): निचले स्तर पर प्रतिक्रिया करता है (15–30 किमी)

Network Central Operations (NCW): विभिन्न सुरक्षा प्रणालियों को एक नेटवर्क में जोड़ा गया है, जिससे सभी इकाइयाँ एक-दूसरे से वास्तविक समय में जानकारी साझा कर सकें। Airborne Early Warning and Control System (AEW&C): DRDO का “Netra”, एक हवाई निगरानी विमान जो समय रहते हवाई खतरों का पता लगाता है Anti-drone सिस्टम: BEL और DRDO ने छोटे ड्रोन और UAV की सुरक्षा के लिए तकनीकें विकसित की।

भारत की वायु रक्षा प्रणाली बहुस्तरीय, उन्नत और समन्वित है, जिसमें देशी नवाचार और विदेशी तकनीक का अद्भुत संयोजन है। इन प्रणालियों में भारत अपने हवाई क्षेत्र को सुरक्षित रख रहा है और एक तकनीकी रूप से सक्षम और आत्मनिर्भर देश बन रहा है।

23 अगस्त 2025 को, DRDO ने ओडिशा के तट पर एकीकृत वायु रक्षा हथियार प्रणाली (IADWS) का पहला उड़ान परीक्षण सफलतापूर्वक किया।23 अगस्त 2025 को, ओडिशा के तट पर रीयल-टाइम फ्लाइट परीक्षण लगभग दोपहर 12:30 बजे संपन्न हुआ।AIADWS एक बहुस्तरीय वायु रक्षा प्रणाली है, जो निम्नलिखित स्वदेशी घटकों से बना है: QRSAM (Quick Surface-to-Air Missile Reaction) VSHORADS मिसाइलें (Very Short Range Air Defence System) DEW एक निर्देशित ऊर्जा हथियार है जो लेजर पर आधारित है।

रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने सोशल मीडिया (X) पर इस परीक्षण की प्रशंसा करते हुए कहा कि यह परीक्षण रक्षा कौशल में “बहुस्तरीय वायु रक्षा क्षमता” कायम करेगा और “महत्वपूर्ण सुविधाओं के क्षेत्रीय संरक्षण को मजबूत” करेगा। साथ ही, प्रेस सूचना ब्यूरो (PIB) और DRDO ने सभी टीमों की प्रशंसा की, जिसमें सशस्त्र बल, उद्योग जगत और DRDO शामिल हैं, और कहा कि यह परीक्षण ‘मल्टी-लेयर्ड एयर डिफेंस क्षमता को मजबूत करने’ में एक महत्वपूर्ण उपलब्धि है।

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